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surah fatiha ka wazifa – सूरह फातिहा का वजीफा
सूरह फातिहा पढ़ने के फायदे क़ुरआन शरीफ में एक करिश्माई वज़ीफ़ा दिया हुआ है जिसे सूरह फातिहा का वजीफा कहा जाता है।
यूं तो पूरी क़ुरआन शरीफ की आयतें ही दर हक़ीक़त में मोजेजा़ और करामत से भर पूर है।
लेकिन आज हम आपको सूरह फातिहा का मोहब्बत का वजीफा और सूरह फातिहा फॉर शादी बतायेगे।
हम आपको हाजत पूरी होने का सूरह फातिहा वज़ीफ़ा भी आज इस पोस्ट पर बतायेगे।
surah fatiha ka wazifa |
surah fatiha ka wazifa
आपका जो भी माली ज़रूरत या फिर घर की जितनी भी तकलीफ है।
उन सब तकलीफों के लिए सूरह फातिहा का वजीफा बहुत ही बेहतरीन अमल है।
हम इस वजीफे को करने की तरकी़ब आप को बता दें।
जिससे आप अपनी हर तरह की परेशानियां से इंशा अल्लाह ताला निजात पा सकते हैं।
यह अमल बेहद ही आसान वजीफा है। इसको मुकम्मल 7 दिनों तक करते रहना है।
इस वजीफे को आपको सात (7) रातों तक करना है इस वजीफे को करने से हर तरह के मसले हल होंगे।
और कामयाबी हासिल होगी अगर किसी वजह से आप कोई रात छूट जाता है।
तो इस वजीफे को करने के लिए आप किसी और रात को इस वजीफा को करके सातों (7) दिनों को मुकम्मल कर सकते हैं।
surah fatiha ka wazifa - सूरह फातिहा का वजीफा
अकेले कमरे में इस वजीफा को करना है।इस वजीफे की शुरुआत आपको जुमेरात (गुरुवार की रात ) से करना है।
और बुधवार के दिन तक लगातार बिना नागा करें करना है।
कोई एक टाइम तय कर लीजिए। इस वजीफे को करने के लिए किसी भी नमाज़ के बाद आप मुसल्ले पर बैठकर एक ही वक्त पर 7 दिनों तक इस वजीफे को करते रहे।
मुंह कि़ब्ले की तरफ रखें इस वजीफा को रात में करने की बहुत सी फजी़लत है।
- पहली रात आप को इस अमल को इस तरह करना है। की सबसे पहले आपको (11) ग्यारह बार अव्वल आखिर दरूद इब्राहिम पढ़ना है फिर नब्बे (90) बार सूरह फातिहा बिस्मिल्लाह शरीफ के सांथ पढ़े।
- दूसरी रात दस (10) मर्तबा अव्वल आखिर दरूद शरीफ अस्सी (80) बार सूरह फातिहा पढ़नी है।
- तीसरी रात नौ (9) बार दरूद शरीफ सत्तर (70) मर्तबा सूरह फातिहा पढ़ने पढ़नी है।
- चौथी रात आठ (8) बार दरूद ए इब्राहिमी साठ (60) बार सूरह फातिहा पढ़नी हैं।
- पांचवीं रात सात (7) बार दरूद शरीफ पढ़ना है और पचास (50) बार सूरह फातिहा पढ़ना है।
- छठवीं रात छ: (6) बार दरूद शरीफ पढ़ना है और चालिस (40) बार सूरह फातिहा पढ़ना है।
- सातवीं रात पांच (5) बार दरुद शरीफ पढ़ना है और तीस (30) बार सूरह फातिहा पढ़ना है।
surah fatiha ka wazifa for love | सूरह फातिहा का मोहब्बत का वजीफा
बेहद ही पावरफुल वजीफा है यह वजीफा यकी़नन जल्दी और कामयाब होने वाला वजीफा है।
इसकी बरकत से इंशाल्लाह अल्लाह आप अपनी मोहब्बत को पा लेगा।
अगर आप किसी को पसंद करते हैं शादी या मोहब्बत का कोई मसला है और हर तरह के मोहब्बतों के मसले को नजर में रख कर यह वजीफा आपके सामने हाजिर लायें हैं।
इसको करने की कुछ तरीका हैं जिसको आप समझें और अपने इख़्तियार में लें यह रूहानी अमल एक कु़रआनी वजीफा है।
अगर आपका महबूब आप से मोहब्बत नहीं करता आप से नाराज़ है।
तो इस बार पावर फुल वजीफा से आप से बे पनाह मोहब्बत करने लगेगा इन्शा अल्लाह।
Surah Fatiha Ka Mohabbat Ka Wazifa
इस वजीफा को आप को कम से कम तीन (3) से सात (7) दिनों तक अपने अमल में लाना है।
तीन (3) से सात (7) दिन में इस अमल से इंशाल्लाह आप अपने मक़सद में कामयाब होंगे और आप कामयाबी हासिल कर लेंगे।
इस वजीफे को आप को नेक खुलूस और अच्छी नियत के साथ अपने अमल में लाना है।
लेकिन इस वजीफे को करने से पहले आप अपना इस्तखारा एक बार ज़रूर कर लें।
क्यों कि कभी-कभी ऐसा होता है कि 1 एक चिल्ला से काम नहीं होता तो लोग अमल या वजीफा को बुरा भला कहते हैं।
और दोबारा कोशिश करना भी गवारा नहीं करते आप को चाहिए कि दूसरा चिल्ला शुरू कर दें।
और यह यकीन करके अमल और वजीफा पढ़ें की आज नहीं तो कल अल्लाह रब्बुल आलमीन कामयाबी देगा।
और इस यकीन के साथ रूहानी अ़मलियात को पढ़ें की जिस तरह ज़मीन के नीचे पानी है शर्त सिर्फ इतना है कि किसी को पानी का स्रोत जल्दी मिल जाता है।
और किसी को ज्यादा मेहनत के बाद मिलता है लेकिन मिलता ज़रूर है बस इस यकीन और कामिल तवज्जोह के साथ रूहानी कुरआनी वजीफा और अ़मलियात को करना है इन्शा अल्लाह कामयाबी हासिल होगी।
- इसके पहले अपने आप में झांक ले कि हमसे पाबन्दी से नमाज़ हो पा रही है कि नहीं मतलब पाबन्दी से नमाज़ पढ़ रहें हैं कि नहीं।
- लोगों की मददगार हम बन रहे हैं कि नहीं यानी खिदमते खल्क़ कर रहे हैं कि नहीं।
- दरूद और सलाम से हमारा ज़बान खाली तो नहीं होता है।
- लोगों की चुगली, बुराई, गीबत करना बन्द कर दें।
- अपने ज़बान से गा़ली ग़लौज देने से हर मुमकिन कोशिश करें कि बचें।
- सदका़, खैरात करते रहे लोगों से कम बोलें ऐसे लोगों से बचें जो गाली गलौज देते रहते हैं
फिर सिदक़ नियत से अमल करें जरुर कामयाबी आप के क़दम चूमेगी। इन्शा अल्लाह
बाज कल के लोग यह कह कर चूतिया और बेवकूफ बनाते हैं कि जिन्नातों, जादू की वजह से वजीफा काम नहीं करता।
इस लिए इस्तखारा पहले ही निकलवा लें।
ताकि उस जादू के तोड़ के बाद आप इस वजीफे को करें।
या हमसे इजाज़त ले कर अमल करें ताकी इजाज़त के बहाने पैसा रुपया लेते बने।
सबसे पहले यह जान लेना बेहद ज़रूरी है कि रुहानी अमल करने से पहले सिर्फ इस्तगा़सा करें।
और ख्वाब के जरिए आपको बशारत मिल जाती है कि कामयाबी हासिल होगी कि नहीं।
वजीफे के लिए आपको करना यह है।
- कि सबसे पहले 11 बार अव्वलआखिर दरूद शरीफ और 101 बार बिस्मिल्लाह शरीफ के साथ सूरह फातिहा पढ़नी है।
- यह एक कुरआनी अमल है आप जरूर कामयाब होंगे।
- लेकिन जब आप इस वजीफे को करें तो अपने जहन में अपने मक़सद का तसव्वुर ज़रूर करते रहे ।
- जो भी आपका मकसद हो। उसको अपने तसव्वुर में रखकर इस वजीफे को करते रहे।
surah fatiha for shadi | surah fatiha wazifa for marriage | सूरह फातिहा फॉर शादी
सूरह फातिहा से आप किस तरह से अपनी पसंद की शादी कर सकते हैं।
हर तरह के मसले जो आपके जहन में उठ रहे हैं। उससे जुड़े सवालों का जवाब एक छोटे से इस वजीफे से अमल में मौजूद है।
आपको इस वजीफे को करना है अगर आप अपनी मन पसंद की शादी करना चाहते हैं।
घर वाले आपके इस रिश्ते के लिए राजी़ नहीं हैं।
और आपको हर तरह से इस रिश्ते से दूर जाने के लिए हर जद्दो जहद की कोशिश कर रहे हैं।
तो आप परेशान मत होइए इस वजीफा को ज़रूर करें।
इंशा अल्लाह इसकी बरकत से अल्लाह ने करम फ़रमाया तो आपके घर वाले सब जो इस रिश्ते के खिलाफ थे सब राज़ी हो जाएंगे इन्शा अल्लाह।
वजीफा की इजाज़त हर शख्स को है हर खास और आम शख्स को इस की इजाज़त है।
surah fatiha for shadi
- लेकिन इस वजीफा को आप बा वज़ू हो कर साफ - पाक हालत में रह कर करें।
- सबसे पहले आपको इस वजीफा को करने के लिए एक अकेला कमरा चाहिए।
- जहां इस वजीफा के दरमियान आप किसी से भी बात ना करें।
- और सांथ में आप को इस वजीफा के लिए साफ पानी की ज़रूरत पड़ेगी।
- एक गिलास पानी आप ज़रूर रख लें।
- फिर आपको करना यह है ग्यारह (11) मर्तबा दरूदे इब्राहीम पढ़ें फिर एक सौ पचास (150) बार सूरह फातिहा पढ़ें आख़िर में फिर दरूदे इब्राहीम ग्यारह (11) बार पढ़ें।
उसके बाद आप अल्लाह रब्बुल इज्ज़त की बारगाह इलाही में रो रो कर दुआ करें अपने मक़सद के लिए।
इन्शाअल्लाह ताला अल्लाह ने करम फरमाया तो ज़रूर अपने मक़सद में कामयाब होंगे।
वजीफा मोहब्बत के लिए बहुत ही मुजर्रिब है। फिर आप उस पानी पर दम कर दे।
और अपने घर वालों को पिला दे। इन्शा अल्लाह बहुत जल्द रिश्ते के लिए राज़ी हो जाएंगे।
surah fatiha ka wazifa for hajat, | हाजत पूरी होने का सूरह फातिहा वज़ीफ़ा
आप की हर हाजत को पूरा करने के लिए बहुत ही पावर फुल वजीफा है। हर शख्स किसी ना किसी ख्वाहिश की तमन्ना रखता है।
कि अल्लाह रब्बुल इज्जत उसकी हाजत को पूरा करे लेकिन कुछ परेशानियों के चलते बाद हालात बिगड़ जाते हैं।
कि हम अपनी कोशिशों में नाकाम हो जाते हैं।
लेकिन आपको मायूस होने की ज़रूरत नहीं है।
यह कुरानी वजीफे का अमल है आप इसको अपने अमल में लाना है।
अल्लाह ताला ने चाहा तो आपकी हर नेक हाजत जल्द से जल्द पूरी होंगी। सूरह फातिहा का बेहतरीन वजीफा है।
surah fatiha with tarjuma in hindi | अल्हम्दुलिल्लाह रब्बिल आलमीन हिंदी में | सूरह फातिहा हिंदी में लिखी हुई | surah fatiha in hindi
- अलहम्दु लिल्लाहि रब्बिल आ़लमीन ०
- अरर्हमा निर्रहीम ०
- मालिकि यौउमिद्दीन ०
- इय्याका नअ़ बुदु व इय्याका नस्तईन ०
- इहदिनस सिरॉतल मुस्तकी़म ०
- सिरॉतल लजी़ना अ़न अ़म्ता अ़लैइहिम ०
- गै़इरिल मग़दूबि अ़लैहिम वलद द्वाल्लीन ०
- आमीन
surah fatiha tarjuma in hindi
तर्जुमा :-
- तमाम तारीफें अल्लाह पाक के लिये है।
- जो तमाम क़ायनात का खालिक और मालिक और पालने वाला है।
- जो रहमान और रहीम है ।
- जो रोज़ ए जजा़ के दिन का मालिक है ।
- हम तेरी ही इ़बादत करते हैं ।
- और तुझ ही से मदद चाहते हैं।
- ऐ अल्लाह हमें सीधा रास्ता चला ।
- रास्ता उन लोगों का रास्ता जिन पर तूने इनाम (इनआ़म) फ़रमाया है।
- उन लोगों का रास्ता नहीं जिन पर तेरा गज़ब नाजिल हुआ और ना उन लोगो का जो राहे हक़ से भटके हुए हैं।
Hajat Puri Hone Ka Surah Fatiha Wazifa
इस वजीफा को आपको हर नमाज़ के बाद करना है।
यानी आपको पांच (5) वक्त की नमाज़ के बाद इस वजीफा को करना है।
इसी लिए पांच (5) वक्त की नमाज़ पढ़ना लाज़मी है।
- हर नमाज़ के बाद किसी से बात किये बगैर मुसल्ले पर बैठे रहे।
- फिर अपनी हाज़त की नियत करके अपना सर सजदे में रख कर बिस्मिल्लाह शरीफ़ के साथ सिर्फ एक (1) बार सूरह फातिहा पढ़नी है।
- जब आप इस आयत पर पहुंचे”इय्याक़ा नअ़-बूदु वा इय्याका नसतईन “तो इसको इक्कीस (21) बार दोहरानी है।
- फिर आगे की आयत को पूरी तरह मुकम्मल कर लें।
- गिनती के लिए अगर आप तस्बीह रखना चाहे तो रख सकते हैं।
- फिर सज्दे से उठकर अपनी हाजत के लिए दिल से दुआ करें।
- फ़िर आख़िर में एक बार दरूद शरीफ पढ़े।
- सात (7) दिनों तक का या बेहतर और हाजत पूरी करने वाला वजीफा है।
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surah fatih ka wazifa
soorah phaatiha padhane ke phaayade quran sharif mein ek karishmaee vazifa diya hua hai jise soorah phaatiha ka vajeepha kaha jaata hai.
aaj ham aap ko soorah faatiha ka mohabbat ka vajeepha aur soorah phaatiha phor shaadee bataayege.
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surah fatih ka wazifa
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un sab takaleephon ke lie soorah phaatiha ka vajeepha bahut hee behatareen amal hai.
ham is vajeephe ko karane kee tarakeeba aap ko bata den.
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yah amal behad hee aasaan vajeepha hai. isako mukammal 7 dinon tak karate rahana hai.
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aap musalle par baithakar ek hee vakt par 7 dinon tak is vajeephe ko karate rahe.
munh qible kee taraph rakhen is vajeephe ko raat mein karane kee bahut see phajeelat hai.
1. First night
aap ko is amal ko is tarah karana hai.
sabase pahale aapako 11 martaba avval aakhir darood ibraahim padhana hai
phir 90 baar soorah phaatiha bismillaah shareeph har baar saath padhe.
2. Second night
10 martaba avval aakhir darood shareeph 80 baar soorah phaatiha padhanee hai.
3. Third night
9 baar darood shareeph 70 martaba soorah phaatiha padhane padhanee hai.
4. Fourth night
aath 8 baar darood iibraahimee 60 baar soorah phaatiha padhanehain.
5. Five nights
7 baar darood shareeph 50 baar soorah phaatiha.
6. Sixth Night
chhah baar darood shareeph 40 baar soorah phaatiha.
7. Seventh night
5 baar darud shareeph 30 baar soorah phaatiha.
surah fatiha ka wazifa for love
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surah fatiha for shadi | surah fatiha wazifa for marriagai | soorah phaatiha for shaadi
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surah fatiha with tarjum in hindi | alhamdulillaah rabbil aalmin hindi me | soorah phaatiha hindee mein likhi huyi | surah fatiha in hindi
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surah fatiha tarjum in hindi
Tarjuma :-
tamaam taareephen allaah paak ke liye hai.
jo tamaam qaayanaat ka khaalik maalik aur paalane vaala hai.
jo rahamaan aur raheem hai .
jo roz e jaja ke din ka maalik hai .
ham teree hee ibaadat karate hain .
aur tujh hee se madad chaahate hain.
ai allaah hamen seedha raasta chala .
raasta un logon ka raasta jin par toone inaam (inama) faramaaya hai.
un logon ka raasta nahin jin par tera gajab naajil hua aur na un logo ka jo raahe haq se bhatake hue hain.
hajat puri honai ka surah fatiha wazifa
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